नई दिल्ली इन दिनों एनआरसी, सीएबी को लेकर हंगामा मचा हुआ है मगर लोग इस मामलों को समझने के लिए तैयार नहीं है। गृहमंत्री अमित शाह भी संसद में इन बिलों पर चर्चा के दौरान ये कह चुके हैं कि भारत में रहने वालों को इस बिल से कोई खतरा नहीं है उसके बावजूद राजनीतिक दल अपनी-अपनी रोटी सेंकने के लिए भीड़ को उग्र कर रहे हैं।
NRC, CAB को लेकर आंदोलन जारी है। दिल्ली से लेकर यूपी, असम, बंगाल और कई राज्यों में लोग सड़क पर उतर आए हैं। क्या है NRC?, CAB? और कौन से लोग शरणार्थी कहे जा रहे हैं, किन लोगों को भारत में घुसपैठिया कहा जा रहा है।
National Register of Citizens
असम में NRC को सबसे पहले 1951 में नागरिकों, उनके घरों और उनकी संपत्तियों को जानने के लिए तैयार किया गया था। राज्य में NRC को अपडेट करने की मांग 1975 से ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन द्वारा उठाई गयी थी।